ई-श्रम कार्ड योजना समाज के उन करोड़ों असंगठित श्रमिकों के लिए शुरू की गई है जो रोज़मर्रा की मजदूरी पर निर्भर रहते हैं और जिनके पास स्थायी आय का कोई निश्चित स्रोत नहीं होता। इस योजना का उद्देश्य मजदूरों, रिक्शा चालक, घरेलू कामगार, निर्माण कार्य से जुड़े लोग और असंगठित क्षेत्र में कार्यरत अन्य नागरिकों को सामाजिक सुरक्षा और पेंशन सुविधा प्रदान करना है। सरकार ने इस योजना के तहत एक ऐसा साधन उपलब्ध कराया है, जिससे मजदूरों की बुढ़ापे में आर्थिक मदद हो सके और उन्हें सम्मानजनक जीवन जीने का अवसर मिले।
ई-श्रम कार्ड के माध्यम से न केवल श्रमिकों का एक राष्ट्रीय डेटाबेस तैयार किया जाता है बल्कि उन्हें सामाजिक सुरक्षा योजनाओं से भी सीधे जोड़ा जाता है। अब इस कार्ड से जुड़ी नई पहल “ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना” की शुरुआत की गई है, जिसके अंतर्गत पंजीकृत मजदूरों को भविष्य में पेंशन का लाभ दिया जाएगा। यह योजना करोड़ों गरीब और मजदूर परिवारों को बड़ी राहत देगी।
E Shram Pension Scheme
ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई एक महत्वपूर्ण सामाजिक सुरक्षा पहल है। इस योजना के तहत असंगठित क्षेत्र के वे श्रमिक शामिल होंगे जिनके पास नियमित आय और पेंशन की कोई व्यवस्था नहीं है। इस योजना की सबसे खास बात यह है कि पात्र मजदूर को 60 वर्ष की आयु पूरी होने पर हर महीने 3000 रुपये पेंशन दी जाएगी।
इसके साथ ही यदि श्रमिक तय किए गए योगदान को स्वयं जमा करता है तो उसके खाते में सरकार भी उतनी ही राशि डालकर सहयोग करेगी। यानी यह योजना एक तरह से संयुक्त योगदान पर आधारित है, जिसमें सरकार और श्रमिक मिलकर भविष्य सुरक्षित करते हैं। यह व्यवस्था मजदूरों को बुढ़ापे में निर्भर बने रहने से बचाती है।
योजना का उद्देश्य
इस योजना का मुख्य उद्देश्य असंगठित श्रमिकों को सामाजिक सुरक्षा देना है। इस वर्ग के लोग अक्सर दिहाड़ी मजदूरी पर निर्भर होते हैं और उनके पास भविष्य में खर्च चलाने का कोई स्थायी प्रबंधन नहीं होता। ऐसे में सरकार ने प्रयास किया है कि इन्हें पेंशन दी जाए ताकि वृद्धावस्था में आर्थिक संकट का सामना न करना पड़े।
इसके अलावा यह योजना श्रमिकों को औपचारिक आर्थिक ढांचे से जोड़ने का भी एक प्रयास है। एक राष्ट्रीय स्तर पर डाटाबेस तैयार कर श्रमिकों को न केवल पहचान दी जाती है, बल्कि उन्हें सीधे सरकारी योजनाओं से जोड़ा जाता है, जिससे उनका जीवन स्तर सुधर सके।
योजना से मिलने वाले लाभ
इस योजना से सबसे बड़ा लाभ यह होगा कि असंगठित श्रमिकों को उम्र ढलने पर भरण-पोषण की दिक्कत नहीं होगी। हर महीने मिलने वाला 3000 रुपये पेंशन उनके जीवनयापन में सहयोग करेगा।
इसके अतिरिक्त यदि योजना में शामिल श्रमिक की अकाल मृत्यु हो जाती है तो उसके जीवनसाथी को भी पारिवारिक पेंशन का लाभ दिया जाएगा। इस प्रकार परिवार को भी सामाजिक सुरक्षा का कवच मिलता है।
आवेदन प्रक्रिया
ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना में नामांकन करना बहुत ही सरल है। इसके लिए असंगठित श्रमिकों को अपने आधार कार्ड, मोबाइल नंबर और बैंक खाता विवरण के साथ नज़दीकी सीएससी (कॉमन सर्विस सेंटर) पर जाना होता है।
वहां पंजीकरण कराते समय कर्मचारी को अपनी उम्र और विवरण दर्ज करना होगा। इसी आधार पर उसका योगदान तय किया जाएगा। जैसे यदि कोई श्रमिक कम उम्र में योजना से जुड़ता है तो उसे मासिक योगदान भी कम करना होगा। जबकि 50 वर्ष के करीब कोई श्रमिक योजना में जुड़ता है तो उसका योगदान अपेक्षाकृत अधिक होगा।
पात्रता शर्तें
ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना के लिए आवेदन करने हेतु कुछ तय शर्तें हैं। उम्मीदवार की आयु 18 से 40 वर्ष के बीच होनी चाहिए। उसके पास आधार कार्ड और बैंक खाता होना अनिवार्य है और वह असंगठित क्षेत्र में कार्यरत होना चाहिए।
इसके अलावा आवेदक किसी सरकारी नौकरी में न हो और न ही किसी अन्य सामाजिक सुरक्षा योजना में लाभ प्राप्त कर रहा हो। केवल ऐसे लोग ही इस योजना का लाभ उठा पाएंगे।
योगदान और पेंशन की व्यवस्था
इस योजना में योगदान का निर्धारण आयु के अनुसार होता है। यदि कोई श्रमिक 18 वर्ष की उम्र में योजना से जुड़ता है, तो उसे लगभग 55 रुपये प्रतिमाह योगदान करना होगा। जबकि अधिक उम्र के श्रमिकों को थोड़ी अधिक राशि जमा करनी पड़ती है।
योजना में दी जाने वाली पेंशन राशि 60 वर्ष की आयु पूरी होने के बाद प्रतिमाह 3000 रुपये है, जो सीधे खाते में पहुंचाई जाएगी। इस प्रकार श्रमिक और सरकार दोनों के संयुक्त योगदान से बुढ़ापे के लिए सुरक्षित आय का साधन सुनिश्चित होता है।
निष्कर्ष
ई-श्रम कार्ड पेंशन योजना असंगठित श्रमिकों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। यह योजना उनकी वृद्धावस्था को सुरक्षित बनाती है और उनके परिवार को भी सुरक्षा का भरोसा देती है। इससे भारत के करोड़ों गरीब मजदूरों को एक बेहतर भविष्य की उम्मीद मिलेगी।