भारत सरकार गरीब एवं जरूरतमंद परिवारों को सस्ती दरों पर खाद्यान्न उपलब्ध कराने के लिए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत राशन कार्ड योजना संचालित करती है। इस योजना के तहत लाभार्थियों को राज्य सरकारों द्वारा सार्वजनिक वितरण प्रणाली (PDS) दुकानों से निश्चित मात्रा में अनाज उपलब्ध कराया जाता है। देश के करोड़ों परिवार इसका लाभ सीधे तौर पर उठा रहे हैं।
हाल ही में सरकार ने पाया है कि कई जगहों पर अपात्र लोगों के नाम राशन कार्ड में जुड़े हुए हैं। वहीं, कई ऐसे गरीब परिवार हैं जिन्हें इस योजना का लाभ मिलना चाहिए, लेकिन दस्तावेज़ों की गड़बड़ी के कारण वे इससे वंचित रह जाते हैं। इसी समस्या को हल करने और व्यवस्था को पारदर्शी बनाने के लिए राशन कार्डधारकों की ई-केवाईसी प्रक्रिया को अनिवार्य कर दिया गया है।
ई-केवाईसी का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि राशन कार्ड केवल उन्हीं परिवारों तक सीमित रहे जो वास्तव में इसके हकदार हैं। इससे डुप्लीकेट और फर्जी कार्डों को हटाया जा सकेगा और असली लाभार्थियों को सरकार द्वारा निर्धारित अनाज और अन्य सुविधाओं का उचित हक मिल सकेगा।
Ration Card eKYC
ई-केवाईसी का अर्थ है “इलेक्ट्रॉनिक नो योर कस्टमर” यानी लाभार्थियों की डिजिटल पहचान की पुष्टि। राशन कार्ड ई-केवाईसी के अंतर्गत सभी कार्डधारकों को अपना आधार कार्ड राशन कार्ड से लिंक कराना होता है। आधार संख्या को पीडीएस प्रणाली से जोड़कर यह सुनिश्चित किया जाता है कि कोई भी फर्जी नाम या अपात्र व्यक्ति अनाज का लाभ न उठा सके।
आधार से किए गए सत्यापन के बाद सरकार यह पहचान सकती है कि राशन केवल उन्हीं लोगों को मिले जो राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के नियमों के तहत पात्र हैं। यह प्रक्रिया पूरी तरह डिजिटल है और ऑनलाइन तथा ऑफलाइन दोनों तरह से उपलब्ध कराई जा रही है।
क्यों की जा रही है ई-केवाईसी अपडेट
राशन कार्ड की ई-केवाईसी इसलिए शुरू की गई है ताकि सरकारी अनाज वितरण प्रणाली में पारदर्शिता बनी रहे। लंबे समय से देखने को मिल रहा है कि एक ही परिवार के नाम पर कई कार्ड बना लिए जाते हैं या दूसरे व्यक्ति का कार्ड उपयोग कर अनाज उठाया जाता है।
ई-केवाईसी अपडेट होने पर अपात्र और डुप्लीकेट कार्ड अपने आप निरस्त हो जाएंगे। इससे सरकार का खर्च भी बचेगा और वास्तविक पात्र परिवारों तक सस्ते अनाज का लाभ समय पर पहुंच सकेगा।
राशन कार्ड योजना के तहत लाभ
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत पात्र परिवारों को प्रत्येक माह निर्धारित मात्रा में गेहूं, चावल और अन्य खाद्यान्न कम कीमत पर उपलब्ध कराए जाते हैं। ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों के गरीब परिवार इस योजना से जुड़े हुए हैं।
इस योजना से न केवल परिवारों को खाद्यान्न सुरक्षा मिलती है बल्कि उनकी आर्थिक स्थिति में भी सुधार होता है, क्योंकि उन्हें बाजार दर से बहुत कम कीमत पर अनाज उपलब्ध हो जाता है। ई-केवाईसी की नई प्रक्रिया से सुनिश्चित होगा कि यह सुविधा केवल उन तक पहुंचे जिन्हें वास्तव में इसकी आवश्यकता है।
राशन कार्ड ई-केवाईसी अपडेट करने की प्रक्रिया
ई-केवाईसी अपडेट करने के दो प्रमुख तरीके हैं। पहला है ऑनलाइन माध्यम और दूसरा है ऑफलाइन माध्यम।
ऑनलाइन प्रक्रिया में लाभार्थी आधिकारिक खाद्य विभाग की वेबसाइट पर जाकर आधार विवरण दर्ज कर सकते हैं और ओटीपी सत्यापन कर सकते हैं। इससे उनका आधार कार्ड और राशन कार्ड आपस में लिंक हो जाएगा।
ऑफलाइन प्रक्रिया के लिए लाभार्थी अपने नजदीकी राशन केंद्र, जन सेवा केंद्र या खाद्य विभाग के कार्यालय में जाकर आधार कार्ड की कॉपी और राशन कार्ड प्रस्तुत करके ई-केवाईसी करा सकते हैं। दस्तावेज़ों की जांच के बाद यह प्रक्रिया पूरी हो जाती है।
किन्हें अनिवार्य रूप से कराना होगा
सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि सभी राशन कार्डधारकों को यह ई-केवाईसी अपडेट कराना अनिवार्य है। अगर कोई व्यक्ति या परिवार ई-केवाईसी नहीं कराएगा तो भविष्य में उसे राशन वितरण प्रणाली से बाहर कर दिया जा सकता है और सस्ते अनाज का लाभ नहीं मिलेगा।
इसलिए हर राशन कार्डधारक के लिए आवश्यक है कि वह निर्धारित समय सीमा में अपनी ई-केवाईसी अवश्य पूरी करे।
निष्कर्ष
राशन कार्ड ई-केवाईसी अपडेट गरीब और जरूरतमंद परिवारों तक सरकारी सुविधा पहुंचाने की पारदर्शी पहल है। इससे लाभ वास्तविक हकदारों तक सीमित रहेगा और फर्जीवाड़े पर रोक लगेगी। प्रत्येक राशन कार्डधारक को समय रहते यह प्रक्रिया पूरी कर लेनी चाहिए ताकि उन्हें सरकारी योजना का लाभ निरंतर मिलता रहे।